भूमि की लागत का कोई सब्सिडी नहीं
      17 April 2023

बिंदु पांडे
मर्चेन्ट्स चैम्बर ऑफ़ उत्तर प्रदेश की ट्रेड एण्ड इण्डस्ट्री कमेटी द्वारा आज दिनांक 14 अप्रैल, 2023 को डॉ. गौर हरि सिंहानिया कांफ्रेंस हॉल में एक MSME कार्यशाला का आयोजन किया गया।

इस अवसर पर मर्चेन्ट्स चैम्बर के अध्यक्ष- श्री अतुल कानोडिया ने उपस्तिथ सभी सदस्यों तथा आगंतुकों का स्वागत किया एवं सभी को मर्चेंट्स चैम्बर और कानपुर के इतिहास से अवगत कराया तथा बताया कि इस कार्यशाला से हम सब को बहुत कुछ नई जानकारियाँ मिलेंगी, जो कारोबार को और आगे बढ़ाने में सहायक होगी।

कार्यशाला में डॉ0 अजय कुमार यादव, सहायक आयुक्त, जिला उद्योग केन्द्र, कानपुर ने बताया कि MSME में दिनांक 28.09.2022 को हुये पालिसी में काफी बदलाव हुये, जिससे रोजगार के क्षेत्र में सबसे ज्यादा योगदान हुआ। MSME की तीन ईकाईयां है, जिसमें सूक्ष्म उद्योग में 1 करोड़ से 5 करोड़ एवं लघु उद्योग में 5 करोड़ से 50 करोड़ एवं मध्यम उद्योग में 50 करोड़ से 250 करोड़ तक की ईकाईयां आती है। स्थायी पूंजी में सूक्ष्म में 20%, लघु में 15% तथा मध्यम में 20% की सब्सिडी दी जा रही है। इसमें महिला एवं एस.सी./एस.टी. को 2% अधिक सब्सिडी दी जा रही है। भूमि की लागत पर कोई सब्सिडी नहीं है, जबकि भवन की लागत पर 10% तक सब्सिडी दी जाती है। स्टैम्प ड्यूटी जो कि ऑन लाइन बेवसाईट पर उपलब्ध है, इसमें भी 75% तथा महिलाओं को 100% की छूट दी जाती है। गुणवत्ता सुधार को सरकार ने ध्यान में रखते हुये 75% अथवा 5 लाख की छूट दे रही है। मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना में सरकार 25% तक की सब्सिडी दे रही है। वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट में कानपुर को होजरी, लेदर एवं टेक्सटाइल उद्योगों को बढ़ावा दे रही है।

श्री वी. के. वर्मा, संयुक्त निदेशक, एमएसएमई (डीएफओ), फजलगंज, कानपुर ने बताया कि यह विकास आयुक्त (एमएसएमई) निर्माण भवन, नई दिल्ली का अधीनस्थ कार्यालय है। राज्य के 75 जिलों में से यह 25 जिलों में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम क्षेत्र की प्रचार और विकास संबंधी जरूरतों को पूरा करती है। संस्थान उत्तर प्रदेश राज्य में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों के विकास से संबंधित राज्य उद्योग विभाग, वित्तीय संस्थानों, स्वैच्छिक संगठन और अन्य एजेंसियों के साथ घनिष्ठ संपर्क रखती है। सरकार महिला उद्यमी को सहायता उपलब्ध कराने हेतु काफी पालिसियां उपलब्ध करा रही है, जिसमें किसी भी महिला उद्यमी द्वारा प्रदर्शनी लगाये जाने पर पूरे भारत में आने जाने का खर्च सरकार दे रही है।

श्री एस. के. अग्निहोत्री ने उद्यम रजिस्ट्रेशन के बारे में बताया कि यह एक महत्वपूर्ण प्रक्रिया है, जो हर जगह आवश्यक है। इससे पहले जो उद्योग आधार सर्टिफिकेट था, उसमें केवल वहीं जानकारी उपलब्ध होती थी जो आपके द्वारा दी जाती थी, जबकि उद्यम रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट को सरकार ने जी.एस.टी. और इन्कम टैक्स पोर्टल से लिंक कर दिया है, इसलिये रजिस्ट्रेशन करते समय अपना ही मोबाईल नम्बर एवं ई-मेल डाले, क्योंकि यह एक ओ.टी.पी. बेस्ड पोर्टल है तथा एक पैन कार्ड से एक ही रजिस्ट्रेशन कर सकते है। मिनिस्ट्री ने मार्केटिंग को सर्पोट करने के लिये कई तरह की स्कीम निकाली है, जिसमें प्रिक्योरमेन्ट एण्ड मार्केटिंग सपोर्ट के लिये सरकार 4 लाख तक की सहायता उपलब्ध कराती है।

मंच का संचालन ट्रेड एण्ड इण्डस्ट्री कमेटी के वाइस चेयरमैन- दिलीप अग्रवाल ने किया। धन्यवाद प्रस्ताव प्रेम मनोहर गुप्ता ने दिया। कार्यशाला में ट्रेड एण्ड इण्डस्ट्री कमेटी के एडवाइजर कपिल भाटिया, चेयरमैन- सुशील शर्मा, मुकुल टंडन, विजय पांडे, शरद शाह, अनिल सक्सेना, तथा चैम्बर के सचिव. महेन्द्र नाथ मोदी उपस्थित रहे
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